इदम् | इदम् (२.१) |
ईदृग्गुणोपेतं | ईदृश्–गुण–उपेत (√उप-इ + क्त, २.१) |
लब्धावसरसाधनम् | लब्ध (√लभ् + क्त)–अवसर–साधन (२.१) |
व्याकुर्यात् | व्याकुर्यात् (√व्या-कृ विधिलिङ् प्र.पु. एक.) |
कः | क (१.१) |
प्रियं | प्रिय (२.१) |
वाक्यं | वाक्य (२.१) |
यो | यद् (१.१) |
वक्ता | वक्तृ (१.१) |
नेदृगाशयः | न (अव्ययः)–ईदृश्–आशय (१.१) |
१ | २ | ३ | ४ | ५ | ६ | ७ | ८ |
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इ | द | मी | दृ | ग्गु | णो | पे | तं |
ल | ब्धा | व | स | र | सा | ध | नम् |
व्या | कु | र्या | त्कः | प्रि | यं | वा | क्यं |
यो | व | क्ता | ने | दृ | गा | श | यः |